⚫ चंद्रपूर में DNR ट्रॅव्हल्स की अवैध पार्सल सेवा पर मनसे का हल्ला बोल, प्रशासन की चुप्पी से आंदोलन की चेतावनी
चंद्रपूर, 14 जून 2025: चंद्रपूर शहर में डीएनआर ट्रॅव्हल्स के जरिए चल रही अवैध पार्सल सेवा ने स्थानीय प्रशासन और नागरिकों के बीच तनाव पैदा कर दिया है। महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) वाहतूक सेना ने इस मामले में कड़ा रुख अपनाते हुए प्रादेशिक परिवहन अधिकारी (RTO) और स्थानीय वाहतूक नियंत्रण शाखा के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। मनसे ने आरोप लगाया है कि डीएनआर ट्रॅव्हल्स, जो केवल प्रवासी वाहतूक के लिए अधिकृत है, बिना किसी परमिट के पार्सल सेवा चला रही है, जिसके जरिए बंदूक, ड्रग्स और हवाला के पैसे की तस्करी होने की आशंका है।
मनसे वाहतूक सेना के जिल्हाध्यक्ष महेश वासलवार के नेतृत्व में मनसे जनहित कक्ष के जिल्हाध्यक्ष सुनील गुढे, रमेश काळबांधे और अन्य कार्यकर्ताओं ने RTO अधिकारी किरण मोरे और वाहतूक शाखा के पुलिस निरीक्षक पाटील को एक सप्ताह पहले ज्ञापन सौंपकर इस अवैध कारोबार पर रोक लगाने की मांग की थी। ज्ञापन में चेतावनी दी गई थी कि यदि एक सप्ताह में कार्रवाई नहीं हुई, तो मनसे "मनसे स्टाइल" में आंदोलन करेगी। हालांकि, एक सप्ताह बीत जाने के बाद भी प्रशासन की ओर से कोई कदम नहीं उठाया गया, जिससे मनसे कार्यकर्ता आंदोलन की तैयारी में जुट गए हैं।
क्या है मामला ?
डीएनआर ट्रॅव्हल्स चंद्रपूर से पुणे, नागपूर और गडचांदूर के बीच प्रवासी वाहतूक संचालित करती है। नियमों के अनुसार, इस ट्रॅव्हल्स को केवल यात्रियों को ले जाने की अनुमति है, लेकिन यह बिना किसी परमिट के पार्सल सेवा भी चला रही है। मनसे का दावा है कि इन पार्सलों में क्या सामान है, इसकी जानकारी न तो प्रशासन को है और न ही किसी अन्य को। इस कारण बंदूक, ड्रग्स और हवाला के जरिए अवैध धन की तस्करी की आशंका जताई जा रही है।
इसके अलावा, ट्रॅव्हल्स को सीधे गंतव्य तक जाने की अनुमति है, लेकिन यह रास्ते में विभिन्न शहरों और गांवों में रुकती है, जो परमिट नियमों का उल्लंघन है। मनसे ने सवाल उठाया है कि आखिर इस ट्रॅव्हल्स को किसका संरक्षण प्राप्त है, जो इतने खुले आम नियम तोड़ रही है।
लाखों की अवैध उलाढाल का आरोप
मनसे का कहना है कि डीएनआर ट्रॅव्हल्स की पार्सल सेवा के जरिए प्रतिदिन लाखों रुपये की अवैध उलाढाल हो रही है। वासलवार ने चेतावनी दी कि यदि इस सेवा को तत्काल बंद नहीं किया गया और भविष्य में शस्त्र या ड्रग्स का कोई बड़ा खुलासा हुआ, तो इसके लिए प्रशासन जिम्मेदार होगा। उन्होंने कहा, "यह अवैध कारोबार सामूहिक अपराध को बढ़ावा दे रहा है। हम इसे बर्दाश्त नहीं करेंगे।"
प्रशासन की चुप्पी पर सवाल
स्थानीय नागरिकों और मनसे कार्यकर्ताओं का गुस्सा प्रशासन की निष्क्रियता पर फूट रहा है। वासलवार ने कहा, "हमने RTO और पुलिस को पहले ही सूचित कर दिया था, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। क्या प्रशासन किसी दबाव में है? या फिर इस अवैध कारोबार में उनकी मिलीभगत है?"
आंदोलन की तैयारी में मनसे
मनसे ने स्पष्ट कर दिया है कि यदि प्रशासन ने जल्द ही डीएनआर ट्रॅव्हल्स के खिलाफ कार्रवाई नहीं की, तो वे सड़कों पर उतरकर "मनसे स्टाइल" में आंदोलन करेंगे। वासलवार ने कहा, "हम चंद्रपूर की जनता की सुरक्षा और कानून-व्यवस्था के साथ खिलवाड़ नहीं होने देंगे। प्रशासन को अब जागना होगा।"
पुलिस और RTO की भूमिका पर सवाल
चंद्रपूर में पहले भी अवैध गतिविधियों, जैसे ड्रग्स तस्करी और शस्त्र जब्ती के मामले सामने आ चुके हैं। ऐसे में डीएनआर ट्रॅव्हल्स की इस संदिग्ध गतिविधि ने प्रशासन की कार्यक्षमता पर गंभीर सवाल खड़े किए हैं। नागरिकों का कहना है कि यदि समय रहते इस पर अंकुश नहीं लगाया गया, तो यह शहर के लिए बड़ा खतरा बन सकता है।
प्रशासन की ओर से अभी तक इस मामले पर कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है। अब यह देखना होगा कि मनसे के दबाव में प्रशासन कोई ठोस कदम उठाता है या मामला और तूल पकड़ता है।
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